नयी दिल्ली । देश की सबसे बड़ी बिजली उत्पादक कंपनी राष्ट्रीय ताप विद्युत निगम (एनटीपीसी) लिमिटेड की कोयला खनन यूनिट ने चालू वित्त वर्ष के पहले नौ माह में एक साल पहले इसी अवधि की तुलना में 51 फीसदी अभूतपूर्व वृद्धि हासिल की है। एनटीपीसी के प्रवक्ता ने यह जानकारी दी। प्रवक्ता ने आज बताया कि कंपनी ने पिछले वित्त वर्ष (2021-22) के अप्रैल-दिसंबर में 90.65 लाख टन कोयला उत्पादन किया था। उसकी तुलना में चालू वित्त वर्ष के पहले नौ महीनों में 140.55 लाख टन उत्पादन किया गया है।
उन्होंने बताया कि चार परिचालन कोयला खदान पकड़ी-बरवाडीह (झारखंड), चट्टी-बरियातू (झारखंड), दुलंगा (ओडिशा) और तलाईपल्ली (छत्तीसगढ़) ने अपनी स्थापना के बाद से दिसंबर-2022 में 22.83 लाख टन का उच्चतम मासिक कोयला उत्पादन किया । इसी तरह इस दौरान एनटीपीसी की कैप्टिव (केवल अपने इस्तेमाल के लिए आवंटित) कोयला खदानों ने कंपनी के 22 से अधिक बिजली संयंत्रों को 600.95 लाख टन कोयले की आपूर्ति की है।
चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही (अक्टूबर -दिसंबर 2022) में एनटीपीसी ने 50.79 लाख टन कोयले का उत्पादन किया है, जो अब तक किसी तिमाही में कंपनी का सबसे अधिक कोयला उत्पादन है । इस दौरान एनटीपीस के बिजली संयंत्रों को 50.42 लाख टन कोयला भेजा गया है, जो कि स्थापना के बाद से अब तक का सबसे अच्छा तिमाही प्रदर्शन है।
एनटीपीसी ने कोयला उत्पादन के साथ-साथ दिसंबर-2022 में 89.16 लाख घनमीटर का अब तक का सर्वाधिक मासिक ओवरबर्डन (कोयला ब्लाक की ऊपरी सतह की मिट्टी आदि) हटाने का लक्ष्य भी हासिल किया है और पिछले वर्ष की समान अवधि में 206.08 लाख घनमीटर की तुलना में इस वित्तीय वर्ष में 448.77 लाख घनमीटर का ओवरबर्डन हटाने का लक्ष्य हासिल किया है।